नकारात्मक सोच पतन का मूल कारण: राष्ट्रसंत कमल मुनि कमलेश
विजयपुरा 16 में 2025
नकारात्मक विचारधारा व्यक्ति को कुंठित, संकीर्ण और असफलता की ओर धकेलती है उक्त विचार राष्ट्र संत कमल मुनि जी कमलेश ने धर्म सभा को संबोधित करते हुए व्यक्त किए। राष्ट्र संत ने कहा कि नकारात्मक सोच अधर्म, पाप और पतन का मुख्य कारण है इससे मनुष्य डिप्रेशन, ब्लड प्रेशर, हार्ट अटैक जैसे रोगों का शिकार बनता है।
उन्होंने कहा कि सकारात्मक विचारधारा अमृत के समान है, जो मन में नई ऊर्जा का विकास करता है उत्साह, उमंग और जोश का माहौल विचारों में बनता है।
मुनि कमलेश ने बताया कि नकारात्मक विचारधारा अंधकार के समान है, जहर है, साक्षात मृत्यु के समान है। विश्व के सभी महापुरुषों ने सकारात्मक विचारधारा को ही धर्म का आधार बताया है।
जैन संत ने कहा कि वस्तु या व्यक्ति खराब नहीं होता है उसके प्रति हमारे पॉजिटिव और नेगेटिव सोच के आधार पर अच्छा और बुरा का मूल्यांकन करते हैं यह सबसे बड़ी अज्ञानता है।
एसएस जैन संघ साहूकार पेठ चेन्नई से 25 गुरु भक्तों का प्रतिनिधिमंडल चातुर्मास की रूपरेखा हेतु संघ अध्यक्ष प्रकाश जी खिंवेसरा, कार्य अध्यक्ष सुशील जी लालवानी, महामंत्री डॉक्टर संजय पीचा जी, पूर्व अध्यक्ष अजीत कोठारी, कोषाध्यक्ष जितेंद्र भंडारी, विजय मालपानी, दिलीप गादीया, रमेश मालपानी, अनिल जी, राजेश चोरडिया, रमेश कटारिया, अशोक लोढ़ा आदि उपस्थित हुए।

18 मई को राष्ट्र संत कमल मुनि जी कोलार पधारने की संभावना है।